मनी मैटरः बच्चों के लिए फाइनेंशियल प्लानिंग
मनी मैटरः बच्चों के लिए फाइनेंशियल प्लानिंग |
हर मां बाप चाहते हैं कि उनके बच्चों को जीवन में कभी भी पसों से जुड़ी तकलीफ न सताए , इसलिए बच्चों के भविष्य का उनके बचपन में ही सिक्योर कर लेते हैं . इसके लिए योजना बनाई जा सकती है . जरूरतों को पहचानें सबसे पहला स्टेप यह है कि अपने बच्चों की जरूरतों को समझें . वच की स्कूल फीस के अलावा भी कई चीजें होती हैं जैसे कि एक्सट्रा क्लास , एक्सट्रा करिकुलर एक्टिविटीज इत्यादि . यह चीजें बच्चों के लिए जरूरी होती है,जैसे जैसे ये खर्च बढ़ते हैं उसी तरह बच्चे की पढ़ाई का खर्चा भी बढ़ता है . बच्चे की पढ़ाई का खर्चा घर के कुल बजट का 60 फीसद से ज्यादा होता है . इसके अलावा पढ़ाई का खर्चा महंगाई दर से ज्यादा तेजी से बढ़ता रहता है . इसलिए पहले बच्चों की असल जरूरतों को पहचाने ताकि अपने लक्ष्य को हासिल किया जा सके .
आर्थिक सुरक्षा सुनिश्चित बच्चे के जन्म लेते ही प्लानिंग शुरू कर दें . इक्विटी में निवेश और पीपीएफ अच्छा रिटर्न देते हैं . यह लंबे समय के निवेश विकल्प हैं . शुरुआत में बचत करने से आप जीवन के अन्य लक्ष्यों को भी आसानी से पूरा कर सकते हैं . एसेट एलोकेशन बाजार में कई निवेश विकल्प मौजूद हैं . लेकिन हर विकल्प का अपना रिस्क फैक्टर है . अधिकांश लोग निवेश में कई गलतियां कर देते हैं . एसेट एलोकेशन एक ऐसी स्ट्रैटेजी है जिसके जरिए आप न सिर्फ सही एसेट क्लास का चुनाव करते हैं बल्कि यह आपके निवेश को भी उचित तरह से मैनेज करता है . वसीयत करें तैयार आपके न रहने की स्थिति में आपकी संपत्ति बिना किसी दक्कत के आपके बच्चों को मिल जाए इसके लिए
समय रहते अपनी संपत्ति तैयार कर लें . वसीयत बनवाते समय ध्यान रखें कि इसमें सब कुछ सरल और स्पष्ट लिखवाएं ताकि आपके जाने के बाद भविष्य में कोई झगड़ा न हो . बच्चों को समझाएं पैसों की अहमियत बच्चों को बचत की अहमियत समझाएं . इससे जब वो अपनी पहली नौकरी ज्वाइन करेंगे तो वह भविष्य के लिए प्लानिंग शुरू कर देंगे . इन सब के अलावा भी कई चीजें चाइल्ड प्लानिंग के लिए जरूरी हो सकती है , लेकिन फाइनेंशियल प्लानिंग का पहला स्टेप यह है कि आप अपनी जरूरतों को पहचाने और आकस्मिक व्यय के लिए योजना बनाते रहें .
Smartly plan your retirement
मनी मैटरः बच्चों के लिए फाइनेंशियल प्लानिंग
Reviewed by Daily Wisdom
on
May 15, 2019
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